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Coronavirus: यूपी में कोरोनावायरस संदिग्धों की रिपोर्ट नकारात्मक आई

लखनऊ। उत्तर प्रदेश में जानलेवा कोरोनावयरस के दो संदिग्ध मरीजों के परिणाम नकारात्मक आए हैं। डॉक्टरों ने इस बात की जानकारी दी। मरीजों में से एक महाराजगंज और दूसरा गाजीपुर का है। दोनों चीनी शहर वुहान में दवा का अध्ययन कर रहे थे और कुछ समय पहले अपने घर लौट आए थे।

कम्युनिकेबल डिजीज के निदेशक मिथलेश चतुर्वेदी ने कहा कि जहां एक ओर दो संदिग्धों की रिपोर्ट मिल गई है, वहीं गाजियाबाद से तीसरे संदिग्ध की रिपोर्ट का इंतजार है। चतुर्वेदी ने कहा, ”गाजियाबाद की मरीज को उसी के घर में अलग रखा गया है। उन्हें पूर्ण रूप से स्वस्थ घोषित करने से पहले हम अगले 28 दिनों तक इंतजार करेंगे। संदिग्धों के रक्त, बलगम और थूक के नमूनों को नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी, पुणे भेजा गया था। गुरुवार देर रात रिपोर्ट प्राप्त हुई। गाजीपुर के चीफ मेडिकल ऑफिसर जी.सी. मौर्य ने कहा कि उनके जिले की रहने वाली यह मेडिकल की छात्रा वुहान में पढ़ाई कर रही थी। उन्होंने कहा कि ‘केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा इस बाबत अलर्ट जारी करने के बाद छात्रा 15 जनवरी को घर वापस आ गई थी। उसकी जांच के लिए एक मेडिकल टीम भेजी गई। लेकिन लड़की में कोरोनोवायरस के लक्षण नहीं दिखाई दिए।

कोरोना वायरस को लेकर कुशीनगर का युवक चीन में फंसा –

उत्तर प्रदेश में कुशीनगर के हनुमानगंज इलाके के दंरगोली गांव के बेलवनिया टोला का युवक चीन के हेलांग जियांग शहर में फंसा है। विपिन गुप्ता नामक युवक वहां की जियामुसी यूनिवर्सिटी के मेडिकल कॉलेज में पढ़ाई करता है। कोरोना वायरस के कारण वहां मेडिकल छात्रों को भी कमरे से बाहर निकलने पर प्रतिबंध है। इसकी जानकारी के बाद घरवाले परेशान हैं।बेलवनिया निवासी राज गोविंद गुप्ता ने बताया कि उनका बेटा विपिन गुप्ता चीन के शहर हेलांग जियांग में जियामुसी यूनिवर्सिटी के मेडिकल कॉलेज में पढ़ाई करता है। वह सर्जरी में पीजी अंतिम वर्ष का छात्र है। बेटे ने बताया है कि उसके कालेज में तमाम भारतीय छात्र भी हैं। छात्रों को 15 दिन से मेडिकल कैंप में रखकर स्वास्थ्य की जांच की जा रही है। परिजन बेटे के सुरक्षित स्वदेश वापसी का इंतजार कर रहे हैं।


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Source: Health

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