NCP सुप्रीमो शरद पवार इस्तीफा वापस लेंगे या नहीं? जानिए Patrika Poll में लोग क्या बोले
Patrika Poll on Sharad Pawar Resignation: राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के अध्यक्ष के पद से शरद पवार के इस्तीफे के बाद महाराष्ट्र की राजनीति में हलचल तेज हो गई है। एनसीपी के कई बड़े नेता पवार को ही अध्यक्ष बनाने पर अड़े हुए है। पार्टी के वरिष्ठ नेता प्रफुल्ल पटेल ने तो साफ कह दिया है कि जब तक शरद पवार पद से हटने के अपने फैसले पर पुनर्विचार नहीं करते, तब तक वह पार्टी प्रमुख बने रहेंगे और उनके उत्तराधिकारी को चुने जाने पर कोई चर्चा नहीं की जाएगी।
खबर है कि एनसीपी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रफुल्ल पटेल और जयंत पाटील जैसे कद्दावर नेताओं और कार्यकर्ताओं की फैसला वापस लेने की अपील के बावजूद शरद पवार अभी तक नहीं माने हैं। ऐसे में सभी के मन में सवाल उठ रहा है कि क्या शरद पवार अपना इस्तीफा वापस लेंगे और फिर से एनसीपी अध्यक्ष का पद संभालेंगे?
इस सवाल का जवाब पत्रिका ने लोगों से पूछा था। माइक्रो ब्लागिंग साइट ट्विटर पर पत्रिका पोल के जरिए पूछे गए सवाल का जवाब बहुत सारे लोगों ने दिया है। इस पोल का रिजल्ट अब सामने आ गया है। पत्रिका पोल में 49 फीसदी से अधिक लोगों ने ‘हां’ में जवाब देते हुए माना कि शरद पवार फिर से NCP का मुखिया का पद संभालेंगे।
पत्रिका पोल में पूछा गया था यह सवाल
वरिष्ठ नेता शरद पवार ने मंगलवार को मुंबई के यशवंतराव चव्हाण सेंटर में अपनी आत्मकथा के संशोधित संस्करण के विमोचन के अवसर पर 1999 में बनाई गई अपनी पार्टी के अध्यक्ष पद को छोड़ने की घोषणा कर सबको चौंका दिया। इस दौरान पवार ने अपने उत्तराधिकारी के चयन पर निर्णय के लिए एक समिति भी बनाई, जिसकी बैठक शुक्रवार को होगी।
शरद पवार के इस्तीफे से एनसीपी में जारी खींचतान के बीच पत्रिका ने ट्विटर पर पोल किया। जिसमें सवाल पूछा गया कि एनसीपी प्रमुख शरद पवार ने इस्तीफा देने के बाद इसे वापस लेने के आग्रह पर सोचने के लिए दो-तीन दिन का समय मांगा है। क्या शरद पवार इस्तीफा वापस लेंगे?
पत्रिका के इस पोल में जवाब के लिए तीन विकल्प दिए गए- हां, नहीं और पता नहीं। हालांकि, पत्रिका का यह पोल अब समाप्त हो चुका है। इस पोल पर 49.6 फीसदी लोगों का जवाब हां में आया। यानी लगभग अधिकांश लोगों ने माना कि एनसीपी के अध्यक्ष पद पर शरद पवार की वापसी होगी और वह अपना इस्तीफा वापस ले लेंगे। जबकि इस पोल पर 41.2 फीसदी लोगों का जवाब नहीं में आया। मतलब यह कि काफी संख्या में लोगों का मानना है कि कद्दावर नेता अपने फासले पर अटल रहेंगे और अब एनसीपी सुप्रीमों के पद पर विराजमान नहीं होंगे। वहीं, 9.2 फीसदी लोग ऐसे भी है, जिनका जवाब ‘पता नहीं’ आया है।
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