एशियन गेम्स 2023 के बॉक्सिंग फाइनल में विश्व चैंपियन लवलीना ने हारकर भी जीता दिल
भारत की मौजूदा विश्व चैंपियन मुक्केबाज लवलीना बोरगोहेन ने आज बुधवार को 19वें एशियाई खेलों में महिलाओं के 75 किग्रा बॉक्सिंग फाइनल में रजत पदक जीता। फाइनल में लवलीना को चीन की ली से हार का सामना करना पड़ा, लेकिन हारकर भी लवलीना ने जो बयान दिया है, वह दिल जीतने वाला है। दरअसल, लवलीना ने क्वार्टर फाइनल में कोरिया की सुयेन सियोंग और सेमीफाइनल में थाईलैंड की मानेकोन बाइसन को हराकर पहले ही ओलंपिक कोटा हासिल कर लिया था। लवलीना का रजत हांगझोऊ में भारत का 5वां मुक्केबाजी पदक है। इससे पहले, निखत ज़रीन, प्रीति पवार, नरेंद्र बेरवाल और परवीन हुडा ने अपने-अपने भार वर्ग में कांस्य पदक जीत चुके हैं।
भारतीय स्टार लवलीना बोरगोहेन से फैंस को एशियन गेम्स में गोल्ड मेडल की उम्मीद थी। लवलीना ने अपना सर्वश्रेष्ठ प्रयास भी किया, लेकिन प्रतिद्वंद्वी कोरिया की सुयेन सियोंग ने उन्हें ज्यादा मौके नहीं दिए। इस तरह महिलाओं के 75 किग्रा बॉक्सिंग फाइनल में लवलीना को 0-5 से हार का सामना करना पड़ा है।
केवल मेडल जीतना मुख्य उद्देश्य नहीं – लवलीना
लवलीना ने फाइनल के बाद कहा कि मैंने अपना सर्वश्रेष्ठ प्रयास किया और 100 प्रतिशत दिया, लेकिन आज स्वर्ण पदक नहीं जीत सकी। मैं अपने प्रदर्शन से संतुष्ट हूं। मैं एशियाई खेलों में रजत पदक जीतकर खुश हूं। लवलीना ने कहा कि हांगझोऊ में उनका मुख्य लक्ष्य पेरिस में अगले साल होने वाले ओलंपिक खेलों के लिए कोटा स्थान हासिल करना था, जिसमें वह कामयाब रही हैं।
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एशियन गेम्स में रजत जीतने वाली भारत की पहली मुक्केबाज
एशियन गेम्स के इतिहास में यह किसी भारतीय महिला मुक्केबाज का पहला रजत पदक है। असम की 26 वर्षीय मुक्केबाज लवलीना ने माना कि उनसे फाइनल में कुछ गलतियां हुईं। इससे पूर्व 2014 में मैरी कॉम ने गोल्ड मेडल जीता था।
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