एक-एक मिनट के छोटे व्यायाम से भी हड्डियों को बना सकते हैं मजबूत
कई हल्के व्यायाम हैं जिनको रोजमर्रा के काम के साथ कर सकते हैं। इनसे लिगामेंट में मजबूती आती और स्पोट्र्स इंजरी का खतरा घटता है। स्पोट्र्स इंजरी पर पेश है डॉ. निक वॉन डिक से पत्रिका संवाददाता हेमंत पाण्डेय से खास बातचीत।
डॉ. निक फुटबॉलर क्रिस्टियानो रोनॉल्डो समेत कई बड़े स्पोट्र्स प्लेयर का इलाज कर चुके हैं।)
ये है स्पोट्र्स इंजरी
इसमें नी इंजरी, स्ट्रेन, स्पे्रन, मसल्स में सूजन, मसल्स का फटना, हड्डियों का टूटना या अपनी जगह से खिसक जाना और लिगामेंट का टूटना है। क्रिकेट, फुटबॉल, बास्केटबॉल, बैडमिंटन, हॉकी के खिलाडिय़ों को इसका खतरा अधिक रहता है। इसमें दौडऩा अधिक रहता है। इसलिए पैरों से जुड़ी चोटें ज्यादा होती हैं। घुटनों में चोट लगने से वहां सूजन और दर्द होता है।
लिगामेंट इंजरी के लक्षण
लिगामेंट इंजरी के अधिकतर मामले दबाव या खिंचाव के कारण होते हैं। इसमें उस हिस्से या जोड़ों में तेज दर्द और सूजन होना, कमजोरी महसूस होना या फिर चलने-खड़े होने में परेशानी होना है। कई बार इतना ज्यादा दर्द होता है कि मूवमेंट पूरी तरह से बंद हो जाता है।
चोट लगे तो क्या करें
इंजरी होने पर मरीज को आराम करने दें। इंजरी वाले हिस्से को हिलाए नहीं। इससे टूटी हड्डियां अपनी जगह से खिसक सकती हैं। समस्या गंभीर हो सकती है। हड्डी खिसकने से दर्द-सूजन, मसल्स भी फट सकती है। ऐसी स्थिति में वहां बैंडेज सही तरीके से बांध दें।
कब नहीं लगाना चाहिए प्लास्टर
प्लास्टर केवल हड्डियों के टूटने पर चढ़ाते हैं। प्लास्टर से हड्डियां नहीं जुड़ती हैं बल्कि केवल हड्डियों को सही जगह पर रोककर रखता है। हड्डियां स्वत: ही जुड़ती हैं। वहीं लिगामेंट इंजरी होने पर प्लास्टर नहीं करना चाहिए। इसमें मूवमेबल ट्रीटमेंट किया जाता है। इससे ही लिगामेंट जल्दी जुड़ते हैं।
बर्फ से करें सेंक
कोई भी इंजरी होने पर तत्काल बर्फ से सिकाई करते हैं। बर्फ ठंडी होती है। इससे न केवल सूजन कम होती है बल्कि ब्लड सर्कुलेशन कम होने से दर्द घटता है। ऐसे में गर्म सेक करते हैं तो समस्या बढ़ सकती है। गर्म सेक केवल पुरानी चोट पर ही करना चाहिए।
हैल्दी डाइट व धूप जरूरी
हड्डियों की मजबूती के लिए केवल कैल्शियम ही नहीं बल्कि प्रोटीन, विटामिन डी, पोटैशियम और मैग्नीशियम भी जरूरी है। प्रोटीन मसल्स को मजबूत बनाते हैं जिससे हड्डियों को सपोर्ट मिलता है। इसमें हैल्दी डाइट के साथ रोजाना 30 मिनट धूप में बैठना भी जरूरी है।
बिना वार्मअप के खेलने से खतरा अधिक
प्लेयर्स या कोई व्यक्ति एक्सरसाइज शुरू करने से पहले वार्मअप जरूर करें। वार्मअप नहीं करते हैं तो इंजरी होने की आशंका 10 गुना तक बढ़ जाती है। वार्मअप से शरीर की फ्लेक्सिबिलिटी बढ़ती है और शरीर एक्सरसाइज के लिए तैयार हो जाता है। शरीर का संतुलन सही रहता है। अगर शरीर में कोई समस्या या दर्द है तो एक्सरसाइज करने से बचें।
ठीक होने में लगता है
छह माह का समय
स्पोट्र्स इंजरी ठीक होने में 6 सप्ताह से 6 माह तक का समय लगता है। कई बार सर्जरी की भी जरूरत पड़ती है। लिगामेंट इंजरी में आर्थोस्कोपी (दूरबीन से सर्जरी) की जाती है। दवाइयां और फिजियोथैरेपी भी जरूरी है।
ये एक्सरसाइज करें
हड्डियों की मजबूती के लिए नियमित स्कॉट होल्ड, एंकल रोटेशन, शोल्डर रोटेशन करें। शोल्डर के लिए शोल्डर प्रेस और हिप के लिए ग्लूड ब्रिज नियमित कर सकते हैं।
ऐसे बचें इंजरी से
छोटे-छोटे ट्रिक्स अपनाएं
दिन में करीब 20 बार एक पैर पर एक-एक तक मिनट खड़ा रहें। ऐसा दोनों पैरों से बार-बार करें। इसे ब्रश करते, मोबाइल से बात करते भी कर सकते हैं। ऑफिस या चेयर पर बैठे-बैठे ही हाथ-पैरों की कलाइयों की घुमाते रहें। इससे भी लिगामेंट मजबूत होता है। खड़े-खड़े बाइसेप्स, लेट्रल और कॉफ लंजेज भी कर सकते हैं।
दूसरे हिस्सों का व्यायाम जरूरी
स्पोट्र्स की गतिविधि के समय खिलाड़ी की शरीर का एक हिस्सा ही मजबूत रहता है जैसे फुटबॉलर के पैर व बैडमिंटन व टेनिस प्लेयर के हाथ। इसलिए दूसरे अंगों में इंजरी की आशंका रहती है। इसलिए पहले वार्मअप जरूरी होता है। शरीर को हाइड्रेट रखें, इंजरी की आशंका घटती है। हर घंटे 150 एमएल पानी जरूर पीएं।
सप्ताह में एक दिन आराम करें
अगर नियमित एक्सरसाइज करते हैं तो सप्ताह में एक दिन आराम जरूर करें। इससे मसल्स और लिगामेंट को आराम मिलता है और इंजरी की आशंका घटती है। जिन्हें इंजरी हो चुकी है वे पूरी तरह से ठीक होने के बाद भी एक्सरसाइज करें या फील्ड पर वापस जाएं।
डॉ. निक वॉन डिक, सीनियर स्पोट्र्स इंजरी एक्सपर्ट, नीदरलैंड्स
Source: Health