नक्शा पास कराने की एवज में मांगी थी रिश्वत, पटवारी व ई-मित्र संचालक को एसीबी टीम ने दबोचा
अजमेर/झुंझनूं. रिश्वत के मामले हर रोज उजागर हो रहे हैं। इसके बावजूद घूसखोर बेखौफ हैं। छोटे से कर्मचारी से लेकर ऊंचे ओहदे तक अधिकारी रिश्वत मांग रहे हैं। किसी भी सरकारी कार्यालय में चले जाएं। वहां बिना पैसे कोई काम ही नहीं रहता। ऐसा ही एक मामला झुंझुनूं जिले के बुहाना उपखंड स्थित उदामांडी पंचायत सर्किल के पटवारी की ओर से घूस मांगने का सामने आया है।
भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो झुंझुनूं की टीम ने गुरुवार शाम बुहाना तहसील के उदामांडी ग्राम पंचायत के पटवारी एवं उसके सहयोगी ई-मित्र संचालक को रिश्वत लेने के आरोप में गिरफ्तार कर लिया। पटवारी ने ई-मित्र संचालक के जरिए घूस की राशि कृषि भूमि पर कुआं दर्शाने के बदले ली थी। एसीबी टीम ने दोनों आरोपियों से अलग-अलग मिली घूस की राशि को जब्त कर लिया। रिश्वत के तौर पर कुल २३ हजार रुपए लिए गए थे।
पटवारी ने एटीएम संचालक के जरिए मंगवाई राशि
एसीबी के उप अधीक्षक शब्बीर खान के अनुसार धूलवा गांव के अनिल कुमार ने एसीबी में 22 जनवरी को शिकायत दर्ज कराई थी कि उदामांडी ग्राम पंचायत के पटवारी एवं धूलवा के अतिरिक्त सहचार्ज रखने वाले पटवारी कुशाल मीणा कृषि भूमि पर बिजली कनेक्शन के लिए कुआं दर्शाने के लिए 30 हजार रुपए की रिश्वत मांग रहा है। शिकायत का सत्यापन कराया तो ई-मित्र संचालक संदीप कुमार नक्शा पास कराने के लिए 23 हजार रुपए में सहमत हुआ। संदीप कुमार गादली गांव में ई-मित्र संचालित करता है।
पटवारी बुहाना से दस्तयाब
इस दौरान पांच हजार रुपए संदीप कुमार ने प्राप्त कर शेष राशि 18 हजार रुपए गुरुवार को संदीप कुमार को दे दिए। आरोपी पटवारी कुशाल मीणा से रिश्वत क राशि बाबत वार्ता कराई तो पटवारी ने सहमति जताई। इस पर पटवारी को बुहाना से दस्तयाब किया। उसके पास से घूस के 18 हजार रुपए भी किए बरामद गए। एसीबी टीम में उप अधीक्षक शब्बीर खान, करतार सिंह, सुनील कुमार, विनोद शर्मा, कर्ण सिंह, अलीहुसैन, सुनील कुमार, समित्रा, चालक जगदेव सिंह शामिल रहे। पटवारी कुशाल मीणा करीब दो साल से बुहाना में कार्यरत है। रिश्वत लेने के आरोप में गिरफ्तार पटवारी कोटपूतली तहसील के दांतली गांव का निवासी है।
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