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आज अपनी चमक खो देगा चांद, एक साल बाद फिर होगा ऐसा, जानिए वजह

आज ब्लैक मून
दरअसल आज (19 मई शुक्रवार को) अमावस्‍या का चंद्रमा ब्‍लैक मून होगा। सारिका घारू ने बताया कि 21 मार्च से 21 जून को 2023 को समाप्‍त होने वाली तीन महीने की खगोलीय बसंत ऋतु में चार अमावस्‍या आ रही हैं। इनमें से शुक्रवार (19 मई) को तीसरी अमावस्या है। तीन महीने के किसी एक सीजन में चार अमावस्‍या आने पर तीसरी अमावस्‍या को ब्‍लैक मून कहा जाता है। इस समय चंद्रमा चमकीला नहीं दिखता है।

इसके पीछे का कारण यह है कि प्रत्‍येक अमावस्‍या को चंद्रमा सूर्य के सीध में होने से पृथ्‍वी से उसका चमकीला भाग (Black Moon) नहीं दिखता है, इसलिये चंद्रमा दिखाई नहीं देता है। लेकिन साल में दो से 5 बार तक होने वाले सूर्यग्रहण की घटना में इसे सूर्य को पूर्ण या आंशिक रूप से ढंकते हुए देखा जा सकता है।

सारिका ने बताया कि ब्लैक मून (Black Moon) शब्द पिछले कुछ सालों से ही प्रचलन में आया है। यह घटना लगभग 33 महीनों बाद होती है। वहीं यह इस साल की पांचवीं अमावस्या भी है। ज्येष्ठ अमावस्या के चंद्रमा को ब्लैक मून कहने के वैज्ञानिकों की एक और परिभाषा के अनुसार किसी एक ही अंग्रेजी महीने में अगर दो अमावस्‍या होती है तो महीने की दूसरी अमावस्‍या ब्‍लैक मून होगा। ऐसा लगभग हर 29 माह बाद होगा। कुछ अन्य विद्वानों का कहना है कि अगर फरवरी माह में अमावस्‍या न हो तो जनवरी एवं मार्च में दो अमावस्‍या होती है। इसे भी ब्‍लैक मून कहा जाता है। यह घटना 2033 में फिर घटेगी।

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आज रात दिखेंगे ज्यादा तारे
वैज्ञानिकों का कहना है कि अमावस्या के दिन चांद का जो हिस्सा आप रोज देखते हैं यह अंधेरे में चला जाता है, इसका मतलब यह नहीं होता कि रात में चांदनी नहीं होती, इस समय चांद की रोशनी कम होने से आसमान में तारे अधिक दिखाई देते हैं। साफ आसमान में अधिक तारा देखना है तो 19 मई, 20 मई और 21 मई की रात आपके लिए अच्छी होगी।

आगामी ब्‍लैक मून

31 दिसम्‍बर 2024 एक की महीने में दो अमावस्‍या

23 अगस्‍त 2025 एक सीजन की चार अमावस्‍या में से तीसरी अमावस्‍या